बच्चे बोल-सुन सकें, कैंप लगा कॉकलियर इंप्लांट करेंगे: गहलोत

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि राज्य सरकार दिव्यांगजनों और वरिष्ठ नागरिकों का विशेष ध्यान रखने के लिए कृत संकल्प है। सरकार समय-समय पर दिव्यांगाें को आवश्यक अंग उपकरण वितरित करती है। जन्म से बधिर बच्चों के लिए जोधपुर में शीघ्र ही कॉकलियर इंप्लांटेशन कैंप लगाएंगे। वे शनिवार को सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग, जोधपुर जिला प्रशासन व विभिन्न स्वयंसेवी संस्थाओं के संयुक्त तत्वावधान में उम्मेद राजकीय स्टेडियम में आयोजित दिव्यांग एवं वरिष्ठ नागरिकों के लिए उपकरण वितरण वृहद शिविर में बतौर मुख्य अतिथि बोल रहे थे। समारोह में पहली बार 7 हजार दिव्यांगों को उपकरण वितरित किए गए।

उन्होंने कहा कि प्रस्तावित कॉकलियर इंप्लांटेशन शिविर में आने वाले सभी बच्चों के लिए यह इंप्लांटेशन का खर्च राज्य सरकार वहन करेगी। इस इंप्लांटेशन की लागत प्रति बच्चे के लिए लगभग साढ़े छह लाख रुपए आती है। विधायक स्थानीय क्षेत्र विकास राशि के तहत विधायक मनीषा पंवार व मीना कंवर ने 25-25 लाख, विधायक महेंद्र विश्नोई, दिव्या मदेरणा, हीरालाल मेघवाल, किशनाराम विश्नोई ने 20-20 लाख की राशि के साथ अन्य संस्थाओं के सहयोग से करीब 3 करोड़ 50 लाख रुपए की राशि प्रदान कर दिव्यांग और वरिष्ठ नागरिकों के लिए अंग उपकरण वितरण में सहायता दी। कार्यक्रम में लोको मोटर दिव्यांगों के लिए 300 मोटराइज्ड ट्राइसिकिल, 250 व्हीलचेयर्स, 100 रोलकेयर, 300 ट्राइसिकिल, 250 नी ब्रेसकिट वितरित किए गए। श्रवण बाधितों के लिए एक हजार श्रवण यंत्र, लेप्रोसी से ग्रसित दिव्यांगों के लिए 500 एडीएल किट्स, एमआर दिव्यांगों के लिए 100 व्हीलचेयर व 50 मल्टी सेन्सरिंग इनक्लूसिव एजुकेशन किट, दृष्टि बाधितों के लिए स्मार्ट फोन के साथ वरिष्ठ नागरिकों के लिए 1500 चश्मे, 2650 छड़ियां व 1200 ट्राइपोडस वितरित किए गए।

भामाशाहों का सम्मान

मुख्यमंत्री ने शिविर में सहायता राशि देने वाले भामाशाहों का शाॅल ओढ़ाकर व प्रशस्ति पत्र देकर सम्मान किया। उन्होंने कहा कि समाज के सक्षम व्यक्तियों को भी अग्रणी रहकर राज्य सरकार के साथ मिलकर ऐसे समाजसेवा के कार्य करते रहना चाहिए।

दिव्यांगों को उपकरण वितरण के दौरान सीएम गहलोत बच्चों के पास भी पहुंचे और उनकी हौसला अफजाई की।

सीएम ने कहा- दिव्यांगों को आत्मनिर्भर बनाना ही समाज की सच्ची सेवा

जोधपुर | मुख्यमंत्री गहलोत ने कहा कि दिव्यांग को आत्मनिर्भर बनाना ही समाज की सच्ची सेवा है। सरकार ऐसी संस्थाओं की भरपूर मदद करेगी, जो सामाजिक बदलाव की दिशा में काम कर रहे हैं। वे शनिवार को चौखा स्थित नेत्रहीन विकास संस्थान की ओर से बनाए अजय लीला विशिष्ठ शिक्षक प्रशिक्षण महाविद्यालय के लोकार्पण समारोह को संबोधित कर रहे थे। गहलोत ने कहा कि नेत्रहीन विकास संस्थान ने यहां जंगल में अपने सद‌्कर्मों से मंगल कर दिया है। संस्थान की सुशीला बोहरा ने दिव्यांग के लिए यूनिवर्सिटी होने की बात कही, ऐसा सोचना ही बड़ी बात है। संबोधि धाम के संत चंद्रप्रभ ने कहा कि जिन्होंने मदर टेरेसा को नहीं देखा, वे सुशीला को देख लें। इन्होंने अपने घर की चारदीवारी से निकलकर हजारों बच्चों को गोद लिया है। सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री मास्टर भंवरलाल मेघवाल ने कहा कि संस्था ने नेत्रहीनों को पढ़ाकर आत्मनिर्भर बनाकर आंखें दी हैं। इससे पूर्व स्वागत करते हुए संस्थान की सुशीला बोहरा ने कहा कि प्रदेश में केवल यूपी में दिव्यांग विवि है, यहां पर भी सरकार दिव्यांग विवि खोले। कार्यक्रम में उच्च शिक्षा मंत्री भंवरसिंह भाटी, विधायक महेंद्र विश्नोई, हीरालाल मेघवाल, मनीषा पंवार, बिशनाराम विश्नोई, संत ललित प्रभ आदि मौजूद थे।

लोकार्पण समारोह के दौरान लगाई प्रदर्शनी का मुख्यमंत्री ने निरीक्षण किया।

कार्यक्रम के दौरान आर्किटेक्ट राजेश बोहरा, भामाशाह सुरेश गांधी और बसंत राज शाह को जोधपुर गौरव सम्मान से नवाजा गया। इस दौरान मुख्यमंत्री गहलोत ने आरजे रैक्स को भी सेवा सम्मान से सम्मानित किया।


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